"जीवन के हर विषम संघर्ष मे अगर परिणाम देखोगे तो तुम्हारा कल तुम्हारी सोच से उतना ही दुर हो जाएगा..जितना ओस की बुन्दो का ठहरावपन"..दुर्गेश 'सोनी'
Thursday 14 July 2011
शब
शब,नज्म,बेबसी,तन्हाई किन किन ने पाला है मुझे 'इश्क़' फ़िर क्यु 'वो' मौजुदगी हर समय हमे अवारा कह जाती है खुशिया,तमन्ना,जहॉ,दिल ये कुछ है जो रखता हु उनके लिए 'खता' वो उनकी नुमाइन्दगी मे इनको खिलौना कह जाती है | दुर्गेश'सोनी'
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